मुंबई. आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल करके ठगी करने वाले सायबर अपराधी दुनिया भर की पुलिस और जांच एजेंसियों पर भारी पड़ रहे हैं. एक तरह से कह सकते हैं कि पुलिस डाल डाल चलती है तो साइबर अपराधी पात पात. एक ऐसे ही मामले में मुंबई पुलिस की साउथ साइबर सेल ने एक आरोपी को बेंगलुरु से गिरफ्तार किया है. आरोपी ने उस एचएसआरपी अर्थात उच्च सुरक्षा वाली नंबर प्लेट को अवैध कमाई का जरिया बना लिया, जिसे सरकार वाहनों के कारण होने वाले अपराध रोकने के लिए लाई है. आरोपी एचएसआरपी के लिए पंजीकरण कराने के हेतु बनाई गई वेबसाइट की डुप्लीकेट वेबसाइट बनाकर रजिस्ट्रेशन कराने वालों से ठगी करता था.
सहाय्यक परिवहन आयुक्त गजानन नाना ठोंबरे ने 2 मई 2024 को सरकार की ओर से साउथ साइबर सेल पुलिस थाने में एचएसआरपी की फर्जी वेबसाइट बना कर ठगी किए जाने की शिकायत दर्ज कराई थी.
सर्वोच्च न्यायालय ने दिया है आदेश
राष्ट्रीय सुरक्षा के मद्देनजर सर्वोच्च न्यायालय ने सभी वाहनों के लिए उच्च सुरक्षा पंजीकरण संख्या (एच.एस.आर.पी.) प्लेट लगाने का निर्देश दिया है. वाहनों के कारण होने वाले अपराधों पर लगाम लगाना, सड़क पर चलने वाले वाहनों की पहचान करना, नंबर प्लेटों के साथ छेड़छाड़ और जालसाजी को रोकना इसका मूल मकसद है. उक्त आदेश के कार्यान्वयन तथा नाकरिकों की सुरक्षा के दृष्टिकोण से सरकार ने महाराष्ट्र में एच. एस. आर. पी. की भूमिका को ध्यान में रखते हुए और नागरिकों की सुरक्षा के दृष्टिकोण से महाराष्ट्र सरकार ने 1 अप्रैल 2019 से पूर्व-पंजीकृत वाहनों पर उच्च सुरक्षा पंजीकरण संख्या (एचएसआरपी) प्लेट लगाने का निर्णय लिया है. ऐसे पुराने वाहनों पर एचएसआरपी लगाने के लिए परिवहन विभाग द्वारा 3 एजेंसियों /निर्माताओं का चयन किया गया है. इसके बाद महाराष्ट्र में 1 अप्रैल 2019 से पहले पंजीकृत कराए गए पुराने वाहनों के लिए एचएसआरपी प्लेट लगाने का काम शुरू किया गया है. महाराष्ट्र में सभी संबंधित वाहन मालिकों से वाहनों पर एचएसआरपी प्लेट लगाने के लिए परिवहन विभाग की वेबसाइट https://transport.maharashtra.gov.in पर HSRP-NEW-HSRP ONLINE booking नामक टैब में जाकर पर अपने वाहनों को पंजीकृत करना आवश्यक किया गया है. इसमें परिवहन विभाग द्वारा चुने गए 3 संस्थानों के ऑनलाइन पोर्टल का लिंक प्रसारित किया गया है.
ठग ने बनाए अतिरिक्त फर्जी पोर्टल
साउथ साइबर सेल द्वारा बेंगलुरु से गिरफ्तार आरोपी ने सरकार द्वारा मान्य 3 आधिकारिक वेबसाइट के अलावा एचएसआरपी लगाने के लिए अन्य नकली लिंक बना डाला था. मामले में https://indnumberplate.com का तकनीकी विश्लेषण करके और मामले में आरोपी की तलाश करके नकली लिंक https://indnumberplate.com बनाने वाले 57 वर्षीय आरोपी विनोद वेंकट बावले की भूमिका का खुलासा होने के बाद उसे उत्तर बेंगलुरु के यशवंतपुरा पुलिस थाना क्षेत्र से गिरफ्तार किया गया है. उसकी गिरफ्तारी में एपीआई रुपाली चौधरी, इशान खरोटे व अन्य पुलिस कर्मियों की प्रमुख भूमिका रही.
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